हिमाचल प्रदेश सरकार शहरी स्थानीय निकायों नगर निगमों, नगर पालिकाओं, नगर परिषदों और नगर पंचायतों में कार्यरत सभी सफ़ाई-कर्मचारियों को इस वर्ष अप्रैल, मई और जून के लिए प्रतिमाह 2,000 रुपये की प्रोत्साहन-राशि प्रदान करेगी। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमन्त्री जय राम ठाकुर ने यह घोषणा शिमला से शहरी स्थानीय निकायों के निर्वाचित प्रतिनिधियों को सम्बोधित करते हुए की।
जय राम ठाकुर ने शहरी स्थानीय निकायों के प्रतिनिधियों से उनके सम्बन्धित क्षेत्रों में कोविड-19 वायरस के कारण होम आइसोलेशन में रह रहे व्यक्तियों के परिवार के सदस्यों के साथ निरन्तर सम्पर्क बनाए रखने का आग्रह किया ताकि उन्हें उचित चिकित्सा-परामर्श और उपचार प्राप्त हो। जय राम ने कहा कि वो यह भी सुनिश्चित करें कि लोग स्वयं अपनी जाँच करवाने के लिए आगे आएं क्योंकि ऐसा पाया गया है कि अस्पतालों में जाने में देरी के कारण स्थिति बिगड़ रही है और मृत्यु की संख्या में बढ़ौतरी हो रही है। उन्होंने कहा कि लोगों को टीकाकरण के लिए आगे आने के लिए भी प्रेरित किया जाना चाहिए। जय राम ठाकुर ने शहरी स्थानीय निकायों के प्रतिनिधियों से इस महामारी को फैलने से रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग के साथ बेहतर समन्वय बनाने का भी आग्रह किया।
जय राम ठाकुर ने कहा कि शहरी स्थानीय निकायों के निर्वाचित प्रतिनिधि न केवल अपने सम्बन्धित क्षेत्रों के लोगों को समय-समय पर प्रदेश सरकार द्वारा जारी किए गए दिशा-निर्देशों और मानक संचालन प्रक्रिया का सख़्ती से पालन करने के लिए प्रेरित करें बल्कि यह भी सुनिश्चित करें कि कोविड-19 के मरीज़ों की मृत्यु होने पर प्रोटोकॉल के अनुसार मृतक व्यक्ति का अन्तिम संस्कार सुनिश्चित किया जाए। जय राम ने कहा कि प्रदेश सरकार निकटतम स्वास्थ्य संस्थानों को पीपीई किट प्रदान करने पर भी विचार कर रही है ताकि वो लोगों को पीपीई किट प्रदान कर सकें और प्रोटोकॉल के अनुसार अन्तिम संस्कार किया जा सके।
जय राम ठाकुर ने शहरी स्थानीय निकायों के प्रतिनिधियों से आग्रह किया कि इस संकट के समय में ज़रूरतमन्द लोगों की सहायता के लिए आगे आएं। जय राम ने कहा कि प्रवासी मज़दूरों को कोई परेशानी न आए, इसके लिए भी कदम उठाए जाने चाहिए और उन्हें प्रदेश में रहने के लिए प्रेरित किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रतिनिधियों को देश के अन्य भागों से उनके सम्बन्धित क्षेत्रों में आने वाले लोगों पर भी निगरानी रखनी चाहिए। जय राम ठाकुर ने कहा कि यदि ऐसे व्यक्तियों में कोई लक्षण हैं तो उन्हें आरटी-पीसीआर जाँच करवाने और कम से कम 10 दिनों के लिए होम क्वॉरनटाइन में रहने के लिए प्रेरित किया जाना चाहिए। जय राम ने कहा कि निर्वाचित प्रतिनिधियों को ग़रीब और ज़रूरतमन्द लोगों को फ़ेस मास्क, हैण्ड सैनिटाइज़र और फ़ूड किट वितरित करने के लिए आगे आना चाहिए। उन्होंने कहा कि सफ़ाई कर्मचारियों को उचित सुरक्षा उपकरण प्रदान किए जाने चाहिए ताकि वो संक्रमित न हों।