भारत में सीरम इनस्टिच्यूट ऑफ़ इण्डिया द्वारा निर्मित ऑक्सफ़ोर्ड ऐस्ट्राज़ेनेका की कोविड-19 वैक्सीन कोविशील्ड और भारत बायोटैक की कोविड-19 वैक्सीन कोवैक्सिन के आपातकालीन इस्तेमाल को मंज़ूरी मिल गई है। वैक्सीन लेना अनिवार्य नहीं है बल्कि इसका इस्तेमाल व्यक्ति-विशेष की इच्छा पर निर्भर करेगा।
सरकार द्वारा आरम्भिक चरण के लिए वैक्सीन की उपलब्धता के हिसाब से कुछ प्राथमिकता-समूहों की पहचान की गई है। पहले समूह में स्वास्थ्य-देखभाल करने वाले और अग्रिम पंक्ति के कार्यकर्ता हैं। दूसरे समूह में 50 वर्ष की आयु से ज़्यादा के लोग हैं। इस समूह में 50 वर्ष की आयु से कम के वो लोग भी हैं जो पहले से किसी गम्भीर बिमारी से जूझ रहे हैं। इस तरह पहले चरण में 30 करोड़ लोगों को वैक्सीन लगाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।